कर्मचारी से संस्थापक से निर्माता | अंकुर वारिकू(Ankur Warikoo) के साथ अनसुना पॉडकास्ट

इस प्रेरक वार्ता में, अंकुर वारिकू (Ankur Warikoo) हमें एक अद्भुत यात्रा पर ले चलते हैं, जहाँ वह वेंचर कैपिटल से फंडेड कंपनी के संस्थापक होने से बूटस्ट्रैप्ड (bootstrapped) उद्यमिता की दुनिया में कदम रखने तक के अपने सफर का वर्णन करते हैं।

मुख्य बातें:

नियम आधारित जीवनशैली का महत्व (Importance of rules in life): अंकुर जीवन में नियमों का पालन करने के महत्व पर प्रकाश डालते हैं.

सफलता के लिए नीरसता (How boring leads to success): सफलता के लिए कठिन परिश्रम जरूरी है लेकिन अन्кур का मानना है कि “नीरस” होना भी सफलता की कुंजी हो सकता है।

कंपनी बेचने के बाद आर्थिक चुनौतियां (What was it like having no money after selling his company): अपनी कंपनी बेचने के बाद भी अंकुर को वित्तीय चुनौतियों का सामना करना पड़ा।

अशneer ग्रोवर के साथ दोस्ती (His friendship with “Ashneer Grover”): अंकुर ने अपने विवादित उद्यमी साथी अशneer ग्रोवर के साथ अपनी दोस्ती के बारे में बात की।

कर्मचारी से संस्थापक से निर्माता | अंकुर वारिकू (Ankur Warikoo) के साथ अनसुना पॉडकास्ट

एक रचनाकार के रूप में यात्रा (His journey as a creator): अंकुर ने एक सफल उद्यमी से एक लोकप्रिय रचनाकार बनने तक के अपने सफर को साझा किया।

विज्ञापनों पर नफरत (Hate he gets on his ADs): अंकुर अपने विज्ञापनों को लेकर मिलने वाली नफरत पर खुलकर चर्चा करते हैं।

स्टार्टअप संस्थापकों के लिए सलाह (Golden advice for startup builders): अंकुर महत्वाकांक्षी उद्यमियों के लिए बहुमूल्य सलाह देते हैं।

अंकुर और होस्ट के बीच बहस (You definitely don’t want to miss the part where Ankur and I got into a fight): अंकुर और होस्ट के बीच एक दिलचस्प बहस हुई जिसे सुनना आपके लिए लाभदायक हो सकता है।

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मार्क ज़करबर्ग(Mark Zuckerberg) ने थ्रेड्स, Elon Musk, AI, Quest 3 और अन्य विषयों पर अपने विचार साझा किए।

एक अद्वितीय साक्षात्कार में, मेटा(Meta) के सीईओ मार्क ज़करबर्ग Mark Zuckerberg ने द वर्ज के उप संपादक एलेक्स हीथ के साथ बातचीत की, जिसमें उन्होंने कृत्रिम बुद्धिमत्ता(AI), नए क्वेस्ट 3 हेडसेट(New Quest 3 headset), थ्रेड्स (Thread), और उनके चल रहे विवाद के बारे में बातचीत की।

मुख्य बातें:

मार्क जुकरबर्ग vs एलन मस्क MMA फाइट:

  • मार्क ज़करबर्ग और एलन मस्क के बीच एक मनोरंजक MMA लड़ाई की कल्पना की गई है।

Threads लॉन्च:

  • इलॉन मस्क ने Threads लॉन्च किया है, जो Twitter के भविष्य को कैसे प्रभावित करेगा, इस पर चर्चा हो रही है।
  • सोशल मीडिया के डायनामिक्स पर मस्क के नवाचारों का क्या प्रभाव पड़ेगा, यह भी विचार किया जा रहा है।

चैटजीपीटी (ChatGPT) और एआई(AI):

  • ChatGPT की क्षमताओं और इसकी conversational AI में भूमिका पर विचार किया गया है।
  • AI के भविष्य और संवादिता के ट्रेंड्स पर ChatGPT जैसे AI का क्या प्रभाव हो सकता है, यह भी समझाने की कोशिश की गई है।

Threads फीडबैक:

  • Threads लॉन्च के बाद जनता और मीडिया का प्रतिक्रिया और इसका तत्काल प्रभाव, इस पर विचार किया गया है।
  • इस पहल से संबंधित प्रतिक्रिया और मीडिया कवरेज भी हाइलाइट की गई है।

Decentralized (विकेन्द्रीकृत) social media:

  • Decentralized सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म्स के लाभ और Centralized मॉडल्स के हानियों पर चर्चा की गई है।
  • यूजर प्राइवेसी, सामग्री मॉडरेशन, और प्लेटफ़ॉर्म गवर्नेंस के लिए इसका क्या महत्व है, इस पर भी चर्चा की गई है।
मार्क ज़करबर्ग(Mark Zuckerberg) ने थ्रेड्स, Elon Musk, AI, Quest 3 और अन्य विषयों पर अपने विचार साझा किए।

AI रेगुलेशन:

  • AI तकनीकों के नियामकन और इसकी चुनौतियों पर चर्चा, जिसमें AI सम्मेलन से अनुभव साझा किए गए हैं।
  • नैतिकता, अंतर्राष्ट्रीय मानक, और नियामक ढांचे के बारे में भी विचार किया गया है।

Open vs. closed source एआई:

  • Open-source और closed-source AI तकनीकों के तुलनात्मक विश्लेषण में उनके फायदे और नुकसान पर बात की गई है।
  • AI विकास में नवाचार, सहयोग, और बाजार पहुंच के लिए इसका क्या महत्व है, यह भी चर्चा की गई है।

मेटा एआई  ऐजन्ट और कैरिक्टर :

  • Meta के AI agents और कैरिक्टर के विकास पर विचार किया गया है, जो उपयोगकर्ता संवाद और भागीदारी को कैसे सुधारते हैं।
  • Virtual environments, सोशल मीडिया, और मनोरंजन में इसका कैसे उपयोग हो सकता है, इस पर भी चर्चा की गई है।

एआई व्यवसाय और उपभोक्ता उपयोग के मामले:

  • Business (जैसे Kylie Jenner AI assistant) और consumer sectors (gaming, travel) में AI के उपयोग के मामले का उदाहरण दिया गया है।
  • उद्योगों में AI के उपयोग से बदलाव और उपभोक्ता अनुभव को कैसे सुधारा जा सकता है, इस पर भी विचार किया गया है।

मेटावर्स और वी.आर.:

  • Metaverse concept और virtual reality (VR) तकनीकों के बारे में समझाया गया है।
  • Holograms, smart glasses, और दैनिक जीवन में VR के व्यावहारिक अनुप्रयोगों पर भी चर्चा की गई है।

मेटा क्वेस्ट 3:

  • मेटा क्वेस्ट 3 का विस्तृत अवलोकन, जिसमें gaming, सोशल इंटरेक्शन (VR chat), और productivity tools (Horizon Worlds, Roblox) के features पर फोकस किया गया है।
  • डिजिटल अनुभव और virtual communities के लिए इसका पोटेंशियल डिस्कस किया गया है।
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जैकब सिंह (Jacob Singh), पूर्व CTO ग्रोफर्स (Grofers) | सॉफ्टवेयर इंजीनियर्स के लिए राइटिंग और पब्लिक स्पीकिंग

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जैकब सिंह (Jacob Singh), एक अनुभवी टेक लीडर, जो ग्रोफर्स (Grofers) के CTO और सिकोइया में CTO-इन-रेजिडेंस के रूप में काम कर चुके हैं। अब वह CTOs और CPOs के साथ काम करते हैं ताकि उनके विचारों और संस्कृतियों को बढ़ाने में मदद कर सकें। उनके कंटेंट में प्रेरणा, लेखन, संचार, व्यक्तिगत ब्रांडिंग, ओपन-सोर्स योगदान, सार्वजनिक वक्तृत्व कौशल, डेवलपर एडवोकेसी, और 2022 की मंदी जैसे विषय शामिल हैं। जैकब ने वर्टिकल SaaS, ML/AI, और जेनरेटिव टूल एप्लिकेशन्स के उदय और अपने प्रारंभिक बाल शिक्षा के प्रति जुनून पर भी चर्चा की है।

मुख्य बातें:

सीटीओ के दिन का जीवन:

  • एक सीटीओ के दिनचर्या का विवरण, जिसमें व्यापक कार्यों की व्याख्या होती है, जैसे कि टीम के साथ बैठकें, प्रोजेक्ट के निरीक्षण, और नए तकनीकी प्रयासों की निगरानी।

शांतिकाल बनाम युद्धकाल CTO:

  • व्यावसायिक या स्थापना के विभिन्न चरणों में सीटीओ की भूमिका में अंतर, जहां शांतिकाल में उत्कृष्टता और युद्धकाल में रणनीतिक निर्णयों की आवश्यकता होती है।

स्टार्टअप में CTO के लिए चुनौतियाँ:

  • नए स्टार्टअप में सीटीओ के सामर्थ्य के बारे में चर्चा, जैसे कि वित्तीय संसाधनों की संचालना, बढ़ती मांग का सामना, और बाजार में प्रतिस्थापन के लिए रणनीतिक निर्माण।

टेक्नोलॉजी बनाम व्यवसाय:

  • टेक्नोलॉजी और व्यवसाय के संवाद में चुनौतियों और संधि के बारे में चर्चा। कैसे दोनों को संतुलित रखा जाए और उनके बीच संवाद को बढ़ावा दिया जाए।

अभियंताओं को प्रेरित करने वाले कारक:

  • इंजीनियरों को प्रेरित करने के मुख्य कारक, जैसे कि रोजमर्रा की समस्याओं का समाधान, नए प्रौद्योगिकी और अनुसंधान के समर्थन, और उत्कृष्टता की प्रेरणा।
जैकब सिंह, पूर्व CTO ग्रोफर्स | सॉफ्टवेयर इंजीनियर्स के लिए राइटिंग और पब्लिक स्पीकिंग

उपनिदेशकों (EMs) के लिए टीम के जुड़े रहने के उपाय:

  • उपनिदेशकों के लिए टीम को लगातार जुड़े रखने के उपाय, जैसे कि स्पष्टता और प्रभावशाली संवाद, अच्छी प्रणाली का बनावट, और प्रेरक नेतृत्व।

इंजीनियरों के लिए लेखन का महत्व:

  • इंजीनियरों के लिए लेखन की महत्वपूर्णता, जिसमें टेक्निकल डॉक्युमेंटेशन, व्यावसायिक ब्लॉगिंग, और अन्य साझा करने के माध्यमों का विशेष महत्व है।

सम्मेलन, ब्लॉग्स और ओपन सोर्स प्रतिभागीता का महत्व:

  • विभिन्न सम्मेलनों में शामिल होने, ब्लॉग्स लिखने और ओपन सोर्स प्रोजेक्ट्स में योगदान करने का महत्व, जो ज्ञान साझा करने और नई आदतों का विकास करता है।

संवाद और प्रलेखन कला के विकास का महत्व:

  • अच्छे संवाद और प्रलेखन कला के विकास की महत्वपूर्णता, जो टीम के बीच स्पष्टता और सहयोग को बढ़ावा देती है।

सॉफ्टवेयर इंजीनियर्स के लिए व्यक्तिगत ब्रांडिंग:

  • सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग में व्यक्तिगत ब्रांडिंग के महत्वपूर्ण अंश, जो नौकरी के प्राप्ति और करियर विकास में मदद करता है।

ओपन सोर्स योगदान और हायरिंग:

  • ओपन सोर्स प्रोजेक्ट्स में योगदान का महत्व और इसका अनुसरण करने वाले अभ्यर्थियों की नियुक्ति में इसका प्रभाव।
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Amod Malviya, Udaan के सह-संस्थापक, इंजीनियरों को SCALER जैसे प्लेटफ़ॉर्म के माध्यम से मज़ेदार और लाभकारी शिक्षा का तरीका सिखा रहे हैं।

Amod Malviya उद्यमी के समुदाय में प्रसिद्ध हैं। उन्होंने Udaan की सह-संस्थापना की है, जो केवल 26 महीनों में यूनिकॉर्न स्थिति तक पहुँची। वे Flipkart की प्रौद्योगिकी मूल स्थापना करने के लिए भी मशहूर हैं। Amod एक उच्च योग्यता वाले प्रौद्योगिकी विशेषज्ञ हैं और प्रौद्योगिकी व्यवसाय में महत्वपूर्ण योगदान देने में सक्षम हैं। उन्होंने IIT Kharagpur से स्नातक की पढ़ाई की है और प्रोग्रामिंग भाषाओं, स्केलेबल इंफ्रास्ट्रक्चर, और नेटवर्क आर्किटेक्चर में अद्वितीय दक्षता दिखाई है।

मुख्य बातें:

कोडिंग जारी रखने का महत्व

  • सीनियर इंजीनियर अभी भी कोडिंग क्यों करते हैं? क्योंकि कोडिंग सिर्फ एक स्किल नहीं, बल्कि प्रॉब्लम सॉल्विंग का तरीका है। इससे उनका ज्ञान ताजा रहता है और नई टेक्नोलॉजी को समझने में मदद मिलती है।

विकेंड डेवलपमेंट चैलेंजेज का अनुभव

  • ट्विटर पर विकेंड डेवलपमेंट चैलेंजेज करने और फिर बंद करने के पीछे की वजहें बताई गईं। ये चैलेंजेज रचनात्मकता बढ़ाते हैं, लेकिन समय की कमी और दूसरी प्राथमिकताओं की वजह से इन्हें बंद करना पड़ा।

इंजीनियरों की गहराई में जाने की प्रेरणा

  • इंजीनियरों को सिस्टम्स और प्रोग्रामिंग भाषाओं में गहराई तक जाने के लिए क्या प्रेरित करता है? जिज्ञासा, प्रॉब्लम सॉल्विंग की इच्छा और खुद को बेहतर बनाने की चाहत उन्हें गहराई में जाने के लिए प्रेरित करती है।

मल्टीपल टेक्नोलॉजीज का प्रबंधन

  • कई प्रोग्रामिंग भाषाओं और टेक स्टैक्स से कैसे निपटा जाए? एक समय में एक चीज़ पर ध्यान दें और अपनी प्राथमिकताएँ समझें। सबसे जरूरी और उपयोगी टूल्स को पहले सीखें।
Amod Malviya, Udaan के सह-संस्थापक, इंजीनियरों को SCALER जैसे प्लेटफ़ॉर्म के माध्यम से मज़ेदार और लाभकारी शिक्षा का तरीका सिखा रहे हैं।

फ्रेमवर्क से कान्सेप्ट (Concept)में सोचने का परिवर्तन

  • फ्रेमवर्क में सोचने से कान्सेप्ट में सोचने का बदलाव कैसे करें? फ्रेमवर्क सिर्फ टूल्स हैं, उनके पीछे के मूल सिद्धांतों को समझना जरूरी है। बुनियादी अवधारणाओं को गहराई से समझें और उन्हें विभिन्न संदर्भों में लागू करें।

मिड-सीनियर इंजीनियरों के लिए करियर ग्रोथ

  • मिड-सीनियर इंजीनियरों के लिए करियर में बढ़ने की सलाह दी गई। इस स्तर पर, तकनीकी स्किल्स के साथ-साथ लीडरशिप और प्रोजेक्ट मैनेजमेंट स्किल्स को भी बढ़ाना जरूरी है। नेटवर्किंग और मेंटरशिप की भी बड़ी भूमिका है।

लगातार सीखने का महत्व

  • करियर में लगातार सीखने का महत्व और इसके फायदे पर चर्चा की गई। टेक्नोलॉजी लगातार बदल रही है, इसके साथ बने रहने के लिए लगातार सीखना जरूरी है। नए टूल्स, तकनीकों और ट्रेंड्स को जानने के लिए समय निकालना महत्वपूर्ण है।

स्किल्स (Skill) vs डिग्री (Degree) का महत्व

  • स्किल्स और डिग्री के महत्व पर चर्चा की गई। आज के टेक्निकल फील्ड में स्किल्स अक्सर डिग्री से ज्यादा महत्वपूर्ण होते हैं। प्रोजेक्ट-आधारित सीखने, पर्सनल प्रोजेक्ट्स और ओपन-सोर्स योगदान के जरिए असली स्किल्स डेवलप करें।
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श्रद्धा दीदी (Shraddha Didi) ने भारतीय शिक्षा प्रणाली, इंजीनियरिंग कॉलेजों और भारत के भविष्य पर चर्चा की | राज शमानी| (Raj Shamani)

इस एपिसोड में हमने भारत में बेरोजगारी और कैसे संस्थान इंजीनियरिंग प्लेसमेंट की संभावनाओं को प्रदान करने में संघर्ष कर रहे हैं, इस पर चर्चा की। कॉलेज क्या गलत कर रहे हैं और भारतीय शिक्षा प्रणाली में कमियाँ कहाँ हैं? श्रध्दा ने AI पर भी चर्चा की और बताया कि Google और Microsoft काम करने के लिए सबसे बेहतरीन कंपनियाँ क्यों हैं। श्रध्दा खापरा एक प्रतिभाशाली शिक्षिका और कंटेंट क्रिएटर हैं, जो शिक्षा, करियर, प्रेरणा, जीवनशैली, यात्रा और अन्य विषयों पर रोचक और ज्ञानवर्धक वीडियो बनाती हैं।

मुख्य बातें:

चाणक्य नीति से सीखे गए सबक:

  • चाणक्य नीति की बातें आज भी कितनी काम की हैं, इस एपिसोड में बताया गया। कैसे चाणक्य की रणनीतियाँ और नीतियाँ आज के समय में भी हमारे जीवन और काम में मददगार हो सकती हैं। चाणक्य नीति से हमें लीडरशिप, नैतिकता, और स्ट्रैटेजिक सोच के बारे में क्या सीखने को मिलता है, इस पर चर्चा हुई।

सब्सिडी: फायदेमंद या नुकसानदायक?:

  • सब्सिडी के रोल पर बात हुई, इसके फायदे और नुकसान दोनों पर चर्चा की गई। कैसे सब्सिडी आर्थिक विकास को प्रभावित करती है और क्या यह सही में जरूरतमंदों तक पहुँचती है या नहीं, इस पर भी विचार किया गया।

इंजीनियरिंग कॉलेजों की हकीकत:

  • भारत के इंजीनियरिंग कॉलेजों की असलियत और वहाँ मिलने वाली प्लेसमेंट की स्थिति पर बात की गई। कई कॉलेजों में प्लेसमेंट की कमी, पुराना सिलेबस और इंडस्ट्री के साथ तालमेल की कमी जैसी समस्याएँ बताई गईं।

डिग्री बनाम कौशल:

  • इस पॉइंट पर डिग्री से ज्यादा स्किल्स के महत्व को रेखांकित किया गया। आज की इंडस्ट्री में सिर्फ डिग्री काफी नहीं है, बल्कि प्रैक्टिकल स्किल्स और एक्सपीरियंस ज्यादा मायने रखते हैं। इससे छात्रों को अपने करियर को सही दिशा देने में मदद मिलती है।
श्रद्धा दीदी (Shraddha Didi) ने भारतीय शिक्षा प्रणाली, इंजीनियरिंग कॉलेजों और भारत के भविष्य पर चर्चा की | राज शमानी| (Raj Shamani)

शिक्षा उद्योग में खामियाँ:

  • भारतीय शिक्षा प्रणाली में जो कमियाँ हैं, उन पर बात की गई। इसमें पुराने सिलेबस, शिक्षकों की कमी, और जॉब-ओरिएंटेड एजुकेशन की कमी जैसी समस्याएँ सामने आईं। सुधार की जरूरत और नई नीतियों की आवश्यकता पर जोर दिया गया।

महिलाएँ इंजीनियरिंग क्यों नहीं चुनतीं?:

  • भारत में महिलाएँ इंजीनियरिंग में कम क्यों आती हैं, इस पर विचार किया गया। सामाजिक दबाव, पारिवारिक जिम्मेदारियाँ, और जेन्डर इनक्वालटी (Gender Inequality)  जैसी चुनौतियाँ इसके मुख्य कारण हैं।

गूगल (Google) और माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft)की वर्क कल्चर:

  • गूगल और माइक्रोसॉफ्ट की अद्वितीय वर्क कल्चर और यह क्यों बेहतरीन कंपनियाँ मानी जाती हैं, इस पर चर्चा की गई। इन कंपनियों में कार्य संतुलन, नवीनता, और कर्मचारी कल्याण के महत्व को उजागर किया गया।

एआई (AI) और इंजीनियरों का भविष्य:

  • कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) के विकास और इसके संभावित प्रभावों पर चर्चा की गई। क्या AI इंजीनियरों को रिप्लेस करेगा या नहीं, इस पर विभिन्न दृष्टिकोण प्रस्तुत किए गए। AI के साथ सहयोग और इसके सही उपयोग से कैसे लाभ उठाया जा सकता है, इस पर भी विचार किया गया।
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सिद्धार्थ माहेश्वरी (Siddharth Maheshwari) ने AI, VR और भविष्य तकनीकों से जुड़े मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की है -The Ranveer Show

सिद्धार्थ माहेश्वरी (Siddharth Maheshwari) एक तकनीकी उद्योग विशेषज्ञ है जो AI (कृत्रिम बुद्धिमत्ता), VR (वर्चुअल रियलिटी), और भविष्य तकनीकों पर विशेषज्ञता रखते हैं। उन्होंने अपने विचारों और विशेषज्ञता को “The Ranveer Show” में साझा किया है, जहां उन्होंने तकनीकी उन्नति, नवाचार, और विकास के बारे में चर्चा की है।

मुख्य बातें:

First Principle Thinking क्या होती है?

  • पहली सिद्धांत सोच का मतलब है कि हम समस्याओं को नए दृष्टिकोण से देखें, बिना पूर्वनिर्धारित समाधानों के पेश किए। इससे इनवैशन और विचारों की प्रेरणा मिलती है।

IITs की खासियत

  • भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) भारतीय तकनीकी शिक्षा में महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं और उनके योगदान को बड़ा माना जाता है।

IT Industry का Future

  • आईटी उद्योग का भविष्य, तकनीकी उन्नति, वेतन वृद्धि, और नवाचारों के संभावित प्रभाव पर चर्चा की गई।

नौकरियों का भविष्य

  • भविष्य में नौकरियों की स्थिति, खासकर तकनीकी उन्नतियों और एआई के आगमन के प्रभाव पर विचार किया गया।
सिद्धार्थ माहेश्वरी (Siddharth Maheshwari) ने AI, VR और भविष्य तकनीकों से जुड़े मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की है -The Ranveer Show

Software Engineers का Future

  • सॉफ़्टवेयर इंजीनियरिंग के भविष्य पर विस्तार से चर्चा की गई, उनकी भूमिका और नौकरी में परिवर्तनों पर।

AGI और ASI क्या है?

  • सामान्य मानवीय बुद्धिमत्ता (AGI) और सुपर मानवीय बुद्धिमत्ता (ASI) के बारे में समझाया गया, उनके विकास के संभावित प्रभाव और नैतिक मुद्दों पर विचार किया गया।

Dark Side Of AI Explained

  • एआई की गहराई को समझाया गया, उसके नकारात्मक पहलुओं के बारे में चर्चा की गई। गोपनीयता, सुरक्षा, और तकनीकी संकटों पर ध्यान दिया गया।

Artificial Intelligence के फायदे

  • एआई के लाभों पर विचार किया गया, इसका उपयोग विभिन्न क्षेत्रों में कैसे किया जा सकता है और उससे समाज में कैसे सुधार लाया जा सकता है।
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Alakh Pandey – Tutor to Unicorn Physics Wallah | ANI Podcast with Smita Prakash

Alakh Pandey, popularly known as Physics Wallah, began teaching younger children to supplement his family’s income while he was in the 11th grade. He later dropped out of college to pursue his lifelong dream of teaching physics. His unicorn business is now reported to be worth Rs 4000 crore. He also discusses the complexities of the education sector and the future of ed-tech enterprises.

Alakh Pandey- Tutor to Unicorn Physics Wallah | ANI Podcast with Smita Prakash
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College Dropout To Building A Successful Unicorn – OYO’s Founder Ritesh Agarwal | Raj Shamani

In this episode of “Figuring Out With Raj Shamani,” Raj speaks with Ritesh Agarwal, the Founder and Group CEO of OYO and India’s youngest self-made millionaire.

College Dropout To Building A Successful Unicorn – OYO’s Founder Ritesh Agarwal | Raj Shamani
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Avadh Ojha Sir On Indian Education and Politics

Ranveer speaks with prominent UPSC teacher Avadh Ojha, who is popular among young people, in this podcast. His skill and understanding have won him great marks, particularly among UPSC aspirants.Ranveer and Avadh Ojha discuss a variety of issues in this podcast. They talk about Avadh Ojha’s childhood, previous aspirations, ideological upheavals, the vision for India in 2033, improvements needed in the Indian school system, national politics, and the current situation in Israel.

Avadh Ojha Sir On Indian Education and Politics
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Dr. Vikas Divyakirti – UPSC Exam, Aspirant Struggle, Preparation Life & Philosophy

Ranveer had a conversation with Dr. Vikas Divyakirti in this podcast. During their talk, they discuss a wide range of themes concerning Dr. Divyakirti’s life path. They delve into his childhood, his experiences with the UPSC exam, his career as an Indian Administrative Service (IAS) officer, the value of emotional intelligence, the influence of people like Anubhav Singh Bassi, his rise to fame via social media, philosophical insights, men’s emotional well-being, and other aspects of life.

Dr. Vikas Divyakirti – UPSC Exam, Aspirant Struggle, Preparation Life & Philosophy
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